अस-सलामु अलायकुम/नमस्कार/सत श्री अकाल/ LOTS OF LOVE दोस्तों !
मन का भी दिमाग होता है। आप यह भी लिख सकते हैं, मानस (मन) में भी दिमाग होता है। या, आप लिख सकते हैं कि मानस (मनुष्य) के मस्तिष्क में दिमाग होता हैं |
लेकिन मानस के “मस्तिष्क और मन” में दिमाग कितना तेज़, कितना मंदबुद्धि और कितना पागल है? या मानस का मस्तिष्क अद्भुद कला हैं!
आइयें ! अब इसे समझते हैं
जिसे आप पागल घोषित कर देते हो. दूसरे शब्दों में कहें तो जिसका दिमाग काम नहीं करता. हालाँकि, एक पागल व्यक्ति कभी भी खुद को पागल नहीं मानता है। एक पागल व्यक्ति आपको पागल कहता है क्योंकि एक पागल व्यक्ति किसी तरह “पागल” का अर्थ समझता है या किसी पागलख़ाने में होता हैं । एक पागल का दिमाग कभी स्वीकार नहीं करता, “मैं पागल हूँ। एक पागल गुस्से में आपको पागल कहता है। ये वही लोग हैं जो मुझे पागल कहते हैं, दरअसल, वे पागल हैं क्योंकि वे जानते हैं, “मैं पागल हूँ”, लेकिन फिर भी, वे मुझे पागल कहते हैं | पागल दुनिया पर जोर-जोर से हंसते हैं,या मन में हसंते हैं, रोते हैं, चिल्लाते हैं| ऐसा सोचकर वे अपने मन में शांति और सुकून का अनुभव करते हैं और कभी-कभी शांत और सौम्य व्यवहार करते हैं, अन्यथा मस्तिष्क के अंदर का दिमाग उनका काम नहीं करता है। पागल को कभी भूख लगती है, कभी नींद आती है क्योंकि पागल का मन जीना चाहता है। और! अपने आप को जीवित रखना या बचाना , एक पागल और आप दिमाग वालों के मन और मस्तिस्क दोनों में दिमाग है| इसीलिए जब आप दिमाग लिखते हैं तो मैं लिखता हूं “मानस”।
और! हो सकता है मस्तिष्क का दिमाग काम न करे. किन्तु मन का दिमाग क्रोधित हो सकता है लेकिन अपना काम नहीं रोक सकता, जब तक, आप जीवित हैं। इसीलिए पागल कभी-कभी खाता है, सोता है,असामान्य प्रतिक्रिया करता है और अचानक ख़ुद को नियंत्रित करता हैं | दूसरे शब्दों में, जिसका मस्तिष्क के अंदर का दिमाग काम नहीं करता, तथापि, मन के अंदर का दिमाग काम करता है। पागल का मन जीवित रहना और बचना चाहता हैं |
इसी प्रकार कोई व्यक्ति जब “कोमा” में होता हैं , वह व्यक्ति भी जीना चाहता हैं और बचने के लिए खाना और पानी चाहता हैं | अगर आप कहते हैं, “कोमा में दिमाग काम करता हैं”, फिर तो आप स्वस्थ लोग भी जीते हुए “कोमा, में है .
आपके मस्तिष्क के अंदर का दिमाग जानता हैं खाना और पानी सेहत और जीने के लिए अत्यंत आवश्यक हैं | किंतु आपका मन के अंदर का दिमाग आपकी रुचि को जगाता हैं | मन वाला दिमाग अच्छा स्वाद खोजता हैं या आपके मन के अंदर के दिमाग की रुचि किसी ख़ास काम में व्यस्त होती हैं | किन्तु जब मन के अंदर का दिमाग तड़पता हैं तो कैसा भी खाना और पानी ख़ोजता हैं |
मन के अंदर का दिमाग़ मस्तिष्क के अंदर वाले दिमाग की बात मान लेता हैं | और ! कैसा भी खाना और पानी खा लेता हैं, पी लेता और जी लेता हैं | अफ़सोस ! जब मस्तिष्क के अंदर का दिमाग रूठता हैं ,वह मन के अंदर के दिमाग़ की बात नहीं मानता
आपके दिल में भी एक दिमाग है, “ऐसा लिखा जा सकता है” जब तक कि आपका हृदय कृत्रिम हृदय न बन जाये।
इसी प्रकार मस्तिष्क में भी “दिमाग” होता है। आप लिख सकते हैं. जब तक कि आपका मस्तिष्क कृत्रिम मस्तिष्क में न बदल जाए।
पागल कौन हैं ? अगर आप जानते हैं तो बस इतना सा फ़र्क हैं |
पागल दिमाग के निंयत्रण के बाहर हैं और आप दिमाग के नियंत्रण में हैं |
पागल अपने आपको मन वाले दिमाग से नियंत्रित करता हैं | किंतु ! आप मन के निंयत्रण में हैं यह एक प्रश्न हैं |
“बात अगर अहम हैं | चंद अल्फाज़ ही काफी हैं | वरना आप किताब लिख दो समझना अभी बाकी हैं”
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ENGLISH VERSION:
The Mind inside the mind. You can also write this, Mind inside the Manas. Or, You may write Manas (human being) has a brain with a mind.
However, how sharp is the mind? how foolish is it! and how crazy is it! in Manas’s brain, Or, Manas’s Brain is amazing Art!
Come! Now let us understand this.
Whom you declare Mad. In other words, one whose mind inside the brain does not work. However, a mad person never considers himself/herself mad. A Mad person calls you mad because a mad person understands somehow the meaning of “Mad” Or, stays in some madhouse. A Mad’s mind never accepts, “I am mad. A Mad calls you mad in anger. Those are the people who call me mad, actually, they are mad because they know, “I am mad”, but they still, call me mad. Mad person laugh and cry loudly or laugh and cry in their mind at the world. Thinking like this, they feel peace and tranquillity in their mind and sometimes behave calmly and gently, otherwise the mind inside the brain does not work for them.
A mad sometimes feels hungry, sometimes sleepy because the mind inside the mind of a mad wants to live. Protecting and surviving yourself proves, that a mad and you brainy have a mind inside the mind and mind inside the brain,” That’s why, when you write mind, I write “Manas”.
It is possible that the brain and mind in the brain may not work. However, the mind in the mind always works. The mind in the mind may become angry but it cannot stop its work until you are alive. That’s why Mad sometimes eats, sleeps, reacts abnormally then suddenly controls. In other words, one whose mind inside the brain does not work, however, the mind in the mind works. The mad mind wants to survive and escape.
Similarly, when a person is in a coma, that person also wants to live and wants food and water to survive. If you say, “The brain works in a coma.” Then you healthy alive people are also living in a “Coma, . |
The mind inside your brain knows that food and water are essential for health and survival. However, your mind inside the mind arouses your interest. The mind inside the mind searches for good tasty food and clean water, Or, the mind inside the mind would have been busy with some special and interesting work.
Now, when the mind inside the mind is in pain, then, it searches for any type of food and water to survive
The mind inside the mind obeys the mind inside the brain. And! Eats and drinks any kind of food and water to survive. Alas! When the mind inside the brain gets angry or stops working, it does not listen to the mind inside the mind
You have a mind in your heart also. Might be written like this. Unless your heart turns into an artificial heart.
Similarly, there is a mind in the brain also. You may write. Unless your brain turns into an artificial brain.
Who are the mad ones? If you know then there is just this much difference.
The Mads are out of the control of the mind of the brain. However, you are under the control of the mind of the brain.
The Mad controls madness with the mind in the mind. Are you in control of your mind? This is a question.
“If the matter is important. A few words are enough. Otherwise, you write a book, It is yet to be understood”
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